सिटी हलचल न्यूज़/आनंद राज
वैशाली:बिहार अनुसूचित जनजाति लोहार युवा मोर्चा वैशाली का स्थापना दिवस समारोह सहदेई प्रखण्ड के पोहियार पंचायत लोदीपुर गांव में डॉ अरविन्द कु० शर्मा के आवास पर मनाया गया जिसमें सभा की अध्यक्षता जी ने की सभा का संचालन मोर्चा के जिला उपसचिव श्री धर्मनाथ शर्मा ने कि मुख्य अतिथि के रूप में संवैधानीक आरक्षण नहीं तो वोट नहीं अभियान के संयोजक सुनील कुमार शर्मा जी ने भाग लिये। उन्होंने दीप प्रज्वलित पर उद्घाटन किये और उन्होंने सभा को संबोधित करते हुऐ कहा की आजाद भारत देश में लोहार जाति गुलाम संवैधानिक आरक्षण नहीं तो वोट नहीं नारा के साथ कहा कि सन् 1947 को भारत देश अजाद हुआ सन् 1949 को जब डॉ० भीमराव अम्बेदकर साहब के द्वारा सविधान लिखा जा रहा था तब भारत सरकार के द्वारा एक पत्र जम्मु काशमीर को छोड़कर सभी राज्य को भेजा गया था जिसमें मार्ग किया गया था कि आपके राज्य में जो भी जाति शैक्षणिक, आर्थीक समाजिक एवं काफी कमजोर हैं। जो अनुसूचित जनजाति के लायक है
उन्हें अनुसंशा कर भारत सरकार को भेजे उस पत्र के जवाब में बिहार सरकार ने लोहार जाति को अनुसूचित जनजाति में अनुसंशा कर के भारत सरकार को भेजा सन् 1950 में पहला गजट बना जिसके क्रम संख्या 20 पर लोहार अंकित है जिसमें प्रथम राष्ट्रपति डॉ० राजेन्द्र प्रसाद जी का अनुसंशा किया हुआ है। सन् 1956 गजट के क्र० संख्या 21 पर लोहार अंकित है। जिसमें भी सन् 1976 हिन्दी गजट क्र० संख्या 22 पर लोहार अंकित है। सन् 1976 अंग्रेजी गजट के क्र० संख्या 22 पर लोहार अंकित है। जिसमे भी राष्ट्रपति जी का अनुसंशा किया हुआ है राष्ट्रपति जी के अनुसंशा को सरकार कानुन मानती है जो न्याय संगत हैं। लेकिन लोहार जाति के गजट 1950, 1956, 1976 पर भी राष्ट्रपति जी का अनुसंशा होने के बावजूद भी लोहार जाति आरक्षण से वंचित है। लोहार जाति के समस्याओं को लेकर लोक सभा में कई बार प्रश्न उठाये गये लेकिन राजद, बिजेपी, जेडीयू, कांग्रेस, कर्मनेयुस्ट किसी भी पार्टियों ने भी समर्थन नहीं किया। प्रधानमंत्री जी और राष्ट्रपति जी को सैकड़ो पत्र लिखा गया लेकिन नहीं मिल सका संवैधानिक अधिकार जबकी देश में बहुत सारी जातियों को अनुसूचित जनजाति में जोड़ा गया जिनको संवैधानिक अधिकार नहीं था
लेकिन सिर्फ लोहार जाति को वंचित किया गया अभी-अभी उत्तर प्रदेश के 13 जिला से 12 जाति को छतिसगढ़ में 42 अनुसूचित जनजाति में पहले से हैं। फिर भी 11 जातियो को प्रार्यावाची शब्द जोड़कर शामिल किया गया। झारखंड में 12 जातियों को अनुसूचित जनजाति में शामिल किया गया स्वर्ण समाज को 10% आरक्षण दिया गया जिनका भी सवैधानिक अधिकार नहीं था हम सभी बिहार के 40 लाख लोहार जाति विरोध में नहीं है। सम्मान करते हैं। लेकिन लोहार जाति को वंचित किया गया कई राज्यों में मतारात्मक सुधार भी किये गये लेकिन लोहार जाति को वंचित किया गया। आरक्षण का प्रलोभन देकर राजनितिक पाटियों ने लोहार जाति से सभा और रैलिया भी करवाये लोक सभा, विधान सभा चुनाव में एकतरफा वोट भी करवाया लेकिन नहीं मिल सका लोहार जाति का संवैधानिक अधिकार सभी राजनितिक पाटियों ने बिहार के 40 लाख लोहार जाति को ठगने का काम किया है इसलिये 2024 के लोक सभा चुनाव में करेंगें। वोट का वहिष्कार आरक्षण नहीं तो वोट नहीं के तैयारी को लेकर बिहार के 38 जिला में जागरूकता अभीयान चलाया जा रहा है। अरुण कुमार शर्मा, लक्ष्मी कान्त ठाकुर चन्द्रभूषण शर्मा, ओम प्रकाश शर्मा, मुनेश्वर शर्मा, कृष्ण कुमार शर्मा, सुनील शर्मा, डॉ० अशोक शर्मा, राजगीर शर्मा, मंजय शर्मा, जगनरायण शर्मा शत्रुघन शर्मा आदि मौजूद थे।