मुरलीगंज /सिटी हलचल न्यूज
मधेपुरा : प्रखंड क्षेत्र के सिंगयान पंचायत रानीपट्टी टोला स्थित उत्क्रमित मध्य विद्यालय मैदान अतिक्रमण के मामले में शुक्रवार को स्कूल पहुंचे पदाधिकारियों की टीम ने स्थानीय लोगों से बातचीत की। उक्त लोगों को जल्द जमीन उपलब्ध कराने और स्कूल परिसर को अतिक्रमण मुक्त करने की बात कही गई। शुक्रवार को जिसमें अतिक्रमण की चपेट में विद्यालय का खेल मैदान, तबेला बना दिया, जिसको लेकर हड़कत में आयी शिक्षा विभाग की ओर से शुक्रवार को बीईओ कुमार गुणानंद सिंह, अंचल से सीओ किसलय कुमार स्कूल परिसर अतिक्रमण की जांच करने पहुंचे थे
बीईओ कुमार गुणानंद सिंह ने स्थानीय ग्रामीणो से आग्रह किया की मैदान में व्याप्त अवैध अतिक्रमण हटाया जाए। यहां के बच्चो को पठन पाठन और खेल-कूद गतिविधि में परेशानी होती है। स्थानीय महादलित समुदाय के लोगों का कहना था कि हमलोगों को सरकार जमीन उपलब्ध कराए। हमलोग स्कूल परिसर से अतिक्रमण हटा लेंगे। जब तक जमीन उपलब्ध नहीं कराया जाएगा, तब तक इसी तरह स्कूल में मवेशी रखेंगे। इस दौरान सीओ किसलय कुमार कुछ बोलने से परहेज करते रहे। राजस्व कर्मचारी भोला कुमार ने बताया कि कुछ लोगो को बासगीत पर्चा नही मिला है। जिसको सूचीबद्ध कर लिया गया है। इन लोगों को जल्द जमीन उपलब्ध कराया जाएगा
ज्ञात हो कि सिंगयान पंचायत के रानीपट्टी टोला स्थित उत्क्रमित मध्य विद्यालय मैदान पर वर्षो से महादलित समुदाय के लोगों द्वारा दर्जनो पशुओ को बांधकर रखने और लगभग आधे दर्जन घर बनाकर अतिक्रमण किया हुआ है। विद्यालय में अधूरे चहारदिवारी होने के बावजूद यहां के महादलित परिवार के लोग स्कूल परिसर में मवेशी बांधने से बाज नही आ रहे हैं। जबकि उत्क्रमित मध्य विद्यालय के प्रधानाचार्य के द्वारा कई बार प्रखंड स्तर से लेकर जिला स्तर तक आवेदन देकर अवगत कराया गया। लेकिन आज तक किसी ने विद्यालय में व्याप्त अवैध अतिक्रमण हटवाने की जहमत नही उठाई है। जिस कारण विद्यालय परिसर आज भी पशु तबेला में तब्दील है। महादलित परिवारों के आतंक से जनप्रतिनिधि और स्कूल के शिक्षकों डरे सहमे रहते हैं। स्कूल परिसर में मवेशी बंधे रहने से छात्रो को खेल-कूद गतिविधियां करने में परेशानी होती है। महादलित समुदाय के लोगो ने वर्षो पूर्व से ही स्कूल परिसर को मवेशी बांधने का बथान बना रखा है। बताया जाता है कि लगभग तीन दशक पूर्व से ही महादलित समुदाय के लोगो ने स्कूल परिसर पर अवैध कब्जा जमाए हुए हैं। जबकि यहाँ के दर्जनों महादलित परिवार को वर्षों पूर्व वासगीत पर्चा मिला है। लेकिन स्थानीय प्रशासन इन लोगों को दखल दिलाने व व्यवस्थित करने के दिशा में गंभीरता नही दिखाई। जिस कारण विद्यालय परिसर पशुओ का तबेला बना हुआ है। छात्र-छात्राओ पशुओ के आतंक से डरे सहमे पठन-पाठन करने को विवश है। छात्र खेलकूद गतिविधि भी नही कर पाते हैं। विद्यालय प्रांगण में मवेशियो को खिलाने वाले दर्जनो नाद और खुट्टे में दर्जनो मवेशी बंधे रहते हैं। जिस कारण बच्चों की परेशानी बढ़ी रहती है। स्कूल के एचएम मो हारून रसीद ने कहा कि विद्यालय मैदान से अतिक्रमण हटाने को लेकर स्थानीय प्रशासन से कई बार गुहार लगाई गई है।