पूर्णियां से बालमुकुन्द यादव की रिपोर्ट
समझौता नहीं किया और हमेशा राष्ट्र को सर्वोपरि माना और अपने जीवन काल के अंतिम समय तक देश के लिए अपने को समर्पित किया इससे प्रेरणा लेने की आवश्यकता है संगीत शास्त्री जी ने तो अपनी सादगी ईमानदारी और समर्पण भाव की एक अनूठी मिसाल पेश की जिसे देश कभी भुलाया नहीं सकता है इस मौके पर रंजन सिंह कार्यानंद कुमार आस नारायण चौधरी पवन राय गौतम वर्मा संजीव शर्मा राजेंद्र नाथ मुखर्जी उर्फ बच्चों दा मनोज सिंह प्रमोद डागा संजय डागा बाबू राम आशीष सिंह रामप्रवेश सिंह आदि उपस्थित थे