पूर्णिया/सिटिहलचल न्यूज़
भू-सम्पदा विनियामक प्राधिकरण (रेरा), बिहार के अध्यक्ष श्री विवेक कुमार सिंह ने पूर्णिया प्रमंडल के जिलों के जिला एवं म्युनिसिपल प्रशासन से आग्रह किया है कि वे रेरा अधिनियम को जमीनी स्तर पर प्रभावी ढंग से लागू करने में सक्रिय भूमिका निभाएं।
“घर/भूखंड खरीदारों के हितों की रक्षा करने के उद्देश्य से ही भू-सम्पदा (विनियमन एवं विकास) अधिनियम, 2016, को लागू किया गया था। इसलिए, जमीनी स्तर पर इसके प्रभावी क्रियान्वयन और अधिनियम के प्रावधानों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई करने के लिए जिला एवं म्युनिसिपल प्रशासन की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है।
"रेरा" बिहार के अध्यक्ष ने सोमवार को यहां रेरा बिहार द्वारा आयोजित एक संवेदीकरण-सह-अभिमुखीकरण कार्यशाला का उद्घाटन करते हुए कहा।उन्होंने कहा कि जिला प्रशासन की घर खरीदारों के हितों की रक्षा में काफी महत्वपूर्ण है। क्योंकिं उन्होंने सिर्फ अधिनियम के प्रावधानों का उलंघन करने वाले प्रमोटर्स के विषय में प्राधिकरण को सूचित करना है, बल्कि जो प्रमोटर रेरा के आदेश के बाद भी घर खरीदारों का पैसा नहीं लौटाते हैं तो उनके विरुद्ध लोक अधिनियम के तहत कारवाई भी करनी है।
वहीं रेरा सदस्य श्रीमती नुपुर बनर्जी ने नगपलिकाओं को कहा की वो नक्क्षा पारित करते समय सभी कागजों की जांच अच्छे से कर लें ताकि बाद में जमीन एवं रास्ते को लेकर कोई विवाद नहीं हो। रेरा सदस्य श्री शम्भू दत्त झा ने कहा की प्राधिकरण घर खरीदारों के हितो के रक्षा के लिए तत्पर है तथा उनके द्वारा दायर वादों को शीघ्र निपटाने की कोशिश होती है ।
इस मौके पर पूर्णिया के आयुक्त श्री संजय दूबे ने कहा की प्राधिकरण को कार्यशाला आयोजित करने के लिए धन्यवाद् दिया तथा कहा की इस बात पर विशेष ध्यान देना चाहिए कि परियोजनाएं कम से कम समय में पूरी हों ताकि लोगों को उनका घर ससमय मिल सकें। उन्होंने इस बात पर भी बल दिया की फ्लैट्स की बिक्री कारपेट एरिया के आधार पर हो। पूर्णिया के जिला पदाधिकारी श्री कुन्दन कुमार ने सुझाव दिया की प्राधिकरण एक ऐसा प्रारूप तैयार करें जिसे देखकर घर खरीदार किसी भी परियोजना में पैसा लगाने से पहले साभी बातों को समझ ले एवं संतुष्ट होने पर ही किसी परियोजना में निवेश करे। कटिहार के जिला पदाधिकारी श्री मनेश कुमार मीना ने ज़मीन से संबंधित बातों पर विशेष ध्यान देने का निवेदन किया तथा कहा की इस बात पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है की किसी भी स्तिथि में घर खरीदारों के हितों की रक्षा हो सके। किशनगंज के जिला पदाधिकारी श्री तुषार सिंगला और अररिया की जिला पदाधिकारी श्रीमती इनायत खान ने तेजी से हो रहे नगरीकरण की ओर ध्यान दिलाया तथा इस बात पर बल दिया की शहरों का विकास नियोजित ढंग से हो। श्री सिंगला ने इस बात पर भी जो दिया की सारे विभागों में समन्वय हो ताकि निर्णयों से पहले समुचित सूचना उपलब्ध हो।
पूर्णिया नगर निगम, कटिहार नगर निगम सहित पूर्णिया, कटिहार, अररिया एवं किशनगंज के 29 नगर निकायों के अधिकारिओं ने इस कार्यशला में हिस्सा लिया। रेरा बिहार की एक टीम द्वारा एक पावर प्वाइंट प्रेजेंटेशन दिया गया, जिसमें प्रतिभागियों को रेरा अधिनियम के प्रमुख प्रावधानों और रेरा बिहार के मुख्य कार्यों के बारे में जानकारी दी गई। इसके बाद, प्रस्तुति में उन बिंदुओं पर प्रकाश डाला गया, जिनके लिए जिला प्रशासन अधिनियम के प्रावधानों का पालन किए बिना रियल एस्टेट परियोजनाओं को लागू करने वाले प्रमोटरों के खिलाफ लोगों की सुरक्षा करने में बहुत प्रभावी भूमिका निभा सकता है। प्रस्तुतिकरण में 2022 में संशोधित बिहार भवन उपनियम, 2014 के प्रावधानों का पालन सुनिश्चित करने के लिए नगरपालिका प्रशासन की महत्वपूर्ण भूमिका पर भी प्रकाश डाला गया।
कार्यशाला के उतरार्ध में प्रतिभागियों को रेरा में प्राधिकरण ने पूर्णिया, कटिहार, अररिया एवं किशनगंज जिलों में निबंधित परियोजनाओं के प्रमोटर को परियोजनाओं के निबंधन के लिए आवश्यक कदमों और निबंधन के बाद किए जाने वाले अनुपालनों के बारे में जानकारी दी. इस सत्र में प्रमोटर्स को रेरा के नए विनियाम्वाली की भी जानकारी दी गयी. इसके बाद एक प्रश्नोत्तर सत्र का आयोजन किया गया, जिसमें रेरा बिहार के अध्यक्ष, सदस्यों और वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा प्रमोटरों और अन्य हितधारकों की शंकाओं का समाधान किया गया।